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Thursday, August 29, 2024

ये मेरा करिश्मा कि तिरी कारगुज़ारी

ये मेरा करिश्मा कि तिरी कारगुज़ारी 
हर रात सितारों में तिरी शक्ल उतारी 
Ye mera karishmaa ki tirii kaarguzaarii
Har raat sitaaro.n me.n tirii shakl utaarii

 

ये बस्ता-ए-औहाम मिरा रख़्त-ए-सफ़र था  
इस दश्त-ए-हुवैदा में थी मुबहम की सवारी 
Ye basta-e-auhaam miraa raKHt-e-safar thaa
Is dasht-e-huvaidaa me.n thi mub.ham ki savaarii

 

तनक़ीद-ओ-तनाक़ुज़ का गिला हो तो किसे हो 
क़ुदरत के तज़ादात से हस्ती ये उभारी 
Tanqiid-o-tanaaquz ka gilaa ho to kise ho
Qudrat ke tazaadaat se hastii ye ubhaarii

 

धरती पे सुकूनत के किराये से दबा हूँ 
आगे का सफ़र-ख़र्च भी है रूह को भारी 
Dhartii pe sukuunat ke kiraaye se dabaa huu.n
Aage ka safar-KHarch bhi hai ruuh ko bhaarii

 

इस दिल की ये फ़ितरत कि अबस टूटता जाये 
क्यूँ सर ये करे रात भर अंदोह-शुमारी 
Is dil ki ye fitrat ki abas TuuT.taa jaaye
Kyuu.n sar ye kare raat bhar andoh-shumaarii

- Ravi Sinha

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बस्ता-ए-औहाम – मुग़ालतों की पोटली; रख़्त-ए-सफ़र – सफ़र का सामान; दश्त-ए-हुवैदा – प्रकट चीज़ों का रेगिस्तान; मुबहम – भ्रान्तिपूर्ण; तनक़ीद – आलोचना; तनाक़ुज़ – प्रतिकूलता; तज़ादात – अन्तर्विरोधों; सुकूनत – आवास; अबस – व्यर्थ ही; अंदोह-शुमारी – दुखों की गिनती 

Basta-e-auhaam – bag of illusions; RaKHt-e-safar – travel bag; Dasht-e-huvaidaa – desert of the obvious; Mub.ham – ambiguous; Tanqiid – criticism; Tanaaquz – contrariness; Tazaadaat – contradictions; Sukuunat – residence; Abas – for no reason; Andoh-shumaarii – counting the woes

 

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